Friday 13 November 2015

बच्चों को पढ़ाने वाली दूसरी शिक्षाप्रद किताब

बच्चों को पढ़ाने वाली मनोरंजक और शिक्षाप्रद किताबों में से तीसरी है ....जातक कथाएं ...
गौतम बुद्ध के पूर्व जन्मों की बेहद लोकप्रिय कहानियां हैं। इन कथाओं को बौद्ध धर्म के सभी मतों में संरक्षित किया गया है। सर्वप्रथम इन कथाओं को पाली भाषा में लिखा गया था। जातक कथाएं बौद्ध ग्रंथ त्रिपिटक का सुत्तपिटक के अंतर्गत खुद्दकनिकाय का 10वां भाग है। कुल जातक कथाएं 103 हैं। सांची के स्तूपों में, जिनका निर्माण तीसरी शताब्दी ई. पूर्व में हुआ था, जातक कथाएं अंकित हैं।

जातक कथाओं का रचनाकाल :
माना जाता है कि ये कहानियां गौतम बुद्ध ने ही अपने मुख से सुनाई थीं। गौतम बुद्ध का जन्म ईसा से 563 साल पहले हुआ था। बाद में इन कथाओं का संकलन तीसरी शताब्दी ईसा पूर्व किया गया था। मथुरा के इतिहास और गुरुकुल कांगड़ी के आचार्य रामदेवजी के निश्चय के अनुसार गौतम बुद्ध काल 1760 विपू से 1680 विपू है तथा उनका मथुरा आगमन काल 1710 विपू है। यह निर्धारण बुद्ध ग्रंथ महावश, जैन ग्रंथ स्थाविरावली, हरवंश, विष्णु भागवत आदि पुराणों के आधार पर है। इसका मतलब 1702 ईसा पूर्व बुद्ध का जन्म हुआ था? भगवान बुद्ध ने गौतम के रूप में जब जन्म लिया, उसके पहले वे बहुत से जन्म ले चुके थे। कहते हैं कि इन्होंने इसके पहले तपस्वी, राजा, वृक्ष, देवता, सिंह, हाथी, घोड़ा, गीदड़, भैंसा, कुत्ता, बंदर, मछली, सूअर आदि के कितने ही जन्म लिए थे। जातक कथाएं त्रिपिटक के सुत्त पिटक के खुद्दकनिकाय का हिस्सा हैं। जातक कथाओं में बुद्ध के 547 पूर्व जन्मों का वर्णन है। बुद्ध घोष ने कोई दो हजार वर्ष पहले ये कथाएं लिखी थीं। कहा गया है कि सबसे पहले जन्म में भगवान बुद्ध सुमेघ तपस्वी के रूप में पैदा हुए थे और सबसे अंत में बेसंतर के रूप में। तीन बार उन्होंने चांडाल के घर में जन्म लिया था। एक बार वे जुआरी के रूप में रहे थे।

जातक कथा के बारे में कई जातक कथाएं महाभारत, पंचतंत्र, पुराण और गैर बौद्ध भारतीय साहित्य की कथाओं के समान हैं। इनमें से कुछ कथाएं बहुत जगप्रसिद्ध हैं। इनका प्रचार संसार के कोने-कोने में हुआ है। इन जातक कथाओं की तर्ज पर ही ईसप की कथाएं, अरब की कथाएं आदि लिखी गईं। इसके अलावा भी दुनिया के तमाम कथा साहित्य में इन कथाओं का प्रभाव स्वत: ही देखने को मिल जाएगा। ईसप की कहानियों का मूल जातक कथाएं, पंचतंत्र और हितोपदेश ही हैं। जातक कथाओं में मनोरंजन के माध्यम से नीति और धर्म को समझाने का प्रयास किया गया है।

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